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महात्मा गांधी कैसे बने राष्ट्रपिता और 2 अक्टूबर को राष्ट्रीय अवकाश कब हुआ था घोषित,जानें

Gandhi Jayanti Special

Gandhi Jayanti Special

Gandhi Jayanti Special : देश को आजाद कराने में सैकड़ो वीरों ने अपनी कुर्बानियां दी थी लेकिन स्वतंत्रता के लड़ाई में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी ने सबसे एवं भूमिका निभाई थी. महात्मा गांधी का जन्म 2 अक्टूबर 1869 ई को गुजरात (Gujrat) के पोरबंदर नामक स्थान पर हुआ था. गांधी जयंती महात्मा गांधी के याद में ही मनाई जाती है. आज देश भर में गांधीजी की 154वीं जयंती मनाई जा रही है. जयंती को लेकर देश भर के अलग-अलग जगह पर कार्यक्रम का भी आयोजन किया गया है.

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राष्ट्रपिता का दर्जा किसने दिया

महात्मा गांधी को महात्मा का दर्जा नोबेल पुरस्कार विजेता और कवि रवींद्र नाथ टैगोर ने दी थी. शुरुआती के दिनों में महात्मा गांधी को मोहनदास करमचंद गांधी के नाम से ही जाना जाता था. 4 जून 1944 को सुभाष चंद्र बोस ने सिंगापुर में एक सम्मेलन के दौरान महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता का कर संबोधित किया था जिसके बाद उन्हें राष्ट्रपिता का दर्जा दे दिया गया.

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राष्ट्रीय अवकाश की कब हुई थी घोषणा

15 जून 2007 को संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा एक प्रस्ताव अपनाया गया जिसके माध्यम से 2 अक्टूबर को अंतर्राष्ट्रीय अहिंसा दिवस के रूप में मनाने की बात कही गई थी. 15 अगस्त और 26 जनवरी के के साथ 2 अक्टूबर को भी राष्ट्रीय अवकाश की सूची में जोड़ा गया है. इस दिन देश के राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री राजघाट स्थित समाधि स्थल पर जाकर राष्ट्रपिता महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि देते हैं.

महात्मा गांधी से जुड़ी कुछ रोचक बातें

महात्मा गांधी अपने जीवन काल में देश की आजादी के लिए कई बार जेल भी गए. बिहार के चंपारण से लेकर देश की राजधानी दिल्ली तक उन्होंने आजादी के लिए कोई लड़ाइयां लड़ी. महात्मा गांधी अपने पूरे जीवन काल में कभी भी हवाई जहाज का सफल नहीं किया वह अक्सर एक स्थान से दूसरे स्थान तक जाने के लिए रेल यात्रा का प्रयोग करते थे.

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